पशुपालन समाचार

सरकार के प्रयासों से कृषि क्षेत्र हुआ सुदृढ़, किसानों की समस्याओं का हुआ समाधान

विभिन्न योजनाओं के अंतर्गत लाखों किसानों को मिला करोड़ों रुपये का अनुदान हिमाचल प्रदेश की अर्थव्यवस्था में कृषि का महत्वपूर्ण योगदान है। प्रदेश के 90 प्रतिशत >>>

पशुपालन समाचार

संयुक्त राष्ट्र संघ के सतत विकास के लक्ष्य

संयुक्त राष्ट्र संघ की देखरेख एवं संरक्षण में 25 सितंबर 2015 को विश्व के 193 देशों में मानव के अच्छे भविष्य एवं सतत विकास के लिए विभिन्न लक्ष्यों का निर्धारण किया जिन्हें सामान्य भाषा में SDG (Sustainable Development goals) या संयुक्त राष्ट्र संघ के ‘सतत विकास के लक्ष्य’ के नाम से जाना जाता है। >>>

पशुपोषण

पशुओं के लिए आहार संतुलन कार्यक्रम द्वारा पशुपालकों की आर्थिक स्थिति सुदृढ़ करना

सामान्यत: पशुओं को दिए जाने वाले आहार में एक या एक से अधिक स्थानीय रूप से उपलब्ध सांद्र मिश्रण या कंसंट्रेट, पशु खाद्य पदार्थ, घास एवं सूखा चारा होता है। >>>

पशुओं की बीमारियाँ

पशुओं की अतिसंक्रामक बीमारी: खुरपका मुंहपका रोग

यह अति घातक शीघ्रता से फैलने वाली छूतदार / संक्रामक बीमारी है। इस रोग में पशुओं के मुंह, पैरों तथा थनों पर छाले पाए जाते हैं। यह रोग विश्व के अधिकांश देशों में पाया जाता है। >>>

पशुओं की बीमारियाँ

मादा पशुओं में फिरावट अर्थात पुनरावृति प्रजनन की समस्या एवं समाधान

ऐसी गाय एवं भैंस जिनका मदकाल चक्र अर्थात ऋतु चक्र निश्चित अविध का होता है और उनके जनन अंग सामान्य लगते हैं परंतु उनको अधिक प्रजनन क्षमता के, सांड या उच्च गुणवत्ता के वीर्य से कम से कम  3 बार प्राकृतिक अथवा कृत्रिम गर्भाधान कराने के पश्चात भी गर्भधारण नहीं करती है तो वह पुनरावृति प्रजनन या फिरावट की श्रेणी में आती है। >>>

पशुपालन समाचार

डॉ सतीश कुमार गर्ग ने बिहार पशु विज्ञान विश्वविद्यालय के कुलसचिव के रूप में अपना योगदान दिया

डॉ सतीश कुमार गर्ग ने बिहार पशु विज्ञान विश्वविद्यालय के कुलसचिव के रूप में अपना योगदान दिया। भूतपूर्व कुलसचिव डॉ. पी.के कपूर के इस्तीफ़े के बाद ये पद खाली था, इस पद को भरने हेतु आवेदन आमंत्रित किये गए थे जिसके तहत प्रोफेसर गर्ग की नियुक्ति हुई, और गुरुवार को उन्होंने अपना योगदान दिया। >>>

पशुपालन समाचार

निदेशक, पशुपालन विभाग उत्तराखंड ने भारत सरकार द्वारा चलाई जा रही योजनाओं के कार्यो का स्थलीय निरीक्षण किया

डॉ केo केo जोशी निदेशक, पशुपालन विभाग उत्तराखंड देहरादून द्वारा भारत सरकार द्वारा चलाई जा रही राष्ट्रव्यापी पशु रोग नियंत्रण कार्यक्रम (NADCP) कृत्रिम गर्भाधान कार्यक्रम (NAIP) व नेशनल लाइवस्टॉक मिशन के अन्तर्गत पशु बीमा के कार्यो का जनपद रुद्रप्रयाग की अगस्तमुनि एवं उखीमठ विकास खण्ड के गांव सौड़ी, गबनी गांव तथा नाला के पशु पालकों के द्वार पर जा कर श्रीश्रीधर भट्ट, श्रीमहावीर सिंह के पशुओ का टैगिंग, डीवर्मिंग,टीकाकरण, कृत्रिम गर्भाधान,तथा बीमा कार्यो का स्थलीय निरीक्षण किया। >>>

पशुपालन समाचार

मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने प्रवासियों को रोजगार उपलब्ध कराने के लिए जिला प्रशासन के प्रयासों की सराहना की

उत्तराखण्ड के मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने अपने 02 दिवसीय जनपद भ्रमण कार्यक्रम के दूसरे दिन विकास भवन सभागार बागेश्वर में अधिकारियों के साथ विभिन्न योजनाओं/कार्यों की समीक्षा बैठक की। >>>

पशुओं की बीमारियाँ

पशुयों में चयोपचय व अल्पता रोग एवं बचाव

पशुयों में भोजन के विभिन्न अवयवों की आवश्यकता पशुयों की वृद्धि, दुग्ध उत्पादन, मांस उत्पादन एवं जनन क्रियाओं के लिए आवश्यक होती है। >>>

भेड़ बकरी पालन

बकरी पालन कारोबार में मेमनों की देखभाल

बकरी पालन रोजगार आज के समय में किसानों, महिलाओं एवं व्यवसायियों के लिए सफल रोजगार साबित हो चुका है। बकरों की मांस की कमी भी कम नहीं होता है। सभी धर्म, जाति, समुदाय के लोग बकरी के पालन, उपयोग एवं इससे जुड़े कार्यों में परहेज नहीं करते हैं। >>>

पशुपालन

पर्यायवरण एवं मानव हितैषी फसल अवशेषों का औद्योगिक एवं भू-उर्वरकता प्रबंधन

आधुनिक समय में मौसम की मार को देखते हुए खेत को जल्दी खाली करने के लिए दबाव बना रहता है। ऐसे में कंबाईन हारवेस्टर का उपयोग फसल को काटने में किया जाता है जिससे फसल में दाने तो अलग कर लिये जाते हैं लेकिन खेत में फसल के अवशेष बच जाते हैं जिनका किसान के लिए निष्पादन करना बहुत मुश्किल हो जाता है। >>>

पशुपोषण

प्रोटीन एवं पौष्टिकता बढ़ाने के लिए धान की पराली/पुवाल का यूरिया उपचार

पराली का यूरिया से उपचार करने से उसकी पौष्टिकता बढ़ती है और प्रोटीन की मात्रा उपचारित पराली की कुट्टी में लगभग 8-9% हो जाती है, एवं 15 से 20% पाचन क्रिया बढ़ जाती है। >>>

पशुओं की बीमारियाँ

विभिन्न संचारी रोगों के कारण, लक्षण एवं नियंत्रण

बरसात के शुरू होते ही जब पानी जगह-जगह भर जाता है इससे तरह-तरह के नए कीटाणु, जीवाणु एवं विषाणु तथा प्रोटोजोआ रुके हुए पानी से उत्पन्न होने लगते हैं जो अपने साथ अनेक रोगों को जन्म देते हैं जिसका प्रभाव न केवल मानव शरीर पर पड़ता है बल्कि इससे बच्चे अधिक प्रभावित होते हैं। >>>